😟गम / दुखी शायरियां koi deewana kehta hai koi कोई दीवाना कहता है कोई पागल समझता है मगर धरती की बेचानी को बस बादल समझता है में तुझसे दूर कैसा हूँ, तू मुझसे दूर कैसी है ये तेरा दिल समझता है या मेरा दिल समझता है kisi ko ishq ki किसी को इश्क़ की अच्छाई ने मार डाला, किसी को इश्क़ की गहराई ने मार डाला, करके इश्क़ कोई ना बच सका, जो बच गया उससे तन्हाई ने मार डाला log ishq karte hai लोग इश्क़ करते हैं, बड़े शोर के साथ. हमने भी किया, बड़े ज़ोर के साथ. मगर अब करेंगे, तोड़ा गौर के साथ. क्योंकि कल उसको देखा, किसी और के साथ. aasuo se palke bhiga आंसुओ से पलके भिगा लेता हूँ याद तेरी आती है तो रो लेता हूँ सोचा की भुलादु तुझे मगर, हर बार फ़ैसला बदल देता हूँ! jaata hun tere darr se जाता हूँ तेरे डर से मुझको तुम भुला देना हो सके तो ऐसा भी करना बहुत दिनों तक इल्ज़ाम ना देना manjile mushkil thi par मंज़िलें मुश्किल थी पर हम खोए नही, दर्द था दिल मे पर हम रोए नही, कोई नही आज हमारा आज जो पूछे हमसे, जाग रहे हो किसी के लिए, या किसी के लिए सोए नही… is behate dard ko mat roko इस बहते दर्द को मत रोको ये तो सज़ा है किसी के इंतेज़ार की लोग इन्हे आँसू कहे या दीवानगी पर ये तो निशानी हैं किसी के प्यार की na ham rahe dil lagaane ke ना हम रहे दिल लगाने के क़ाबिल, ना दिल रहा घाम उठाने के क़ाबिल, लगा उसकी यादों के जो ज़ख़्म दिल पर, ना छोड़ा उस ने मुस्कुराने के क़ाबिल. kisi ki yaad mei baar baar किसी की याद में बार बार रोने से दिल का दर्द कम नहीं होता… प्यार तो तकदीर में लिखा होता है… तड़पने से कोई अपना नहीं होता… apne muqaddar ka ye अपने मुकद्दर का ये सिला भी क्या कम है… एक खुशी के पीछे छुपे हजारो गम है…. चहेरे पे लिये फिरते है मुश्कुराहट फिर भी… और लोग कहते है, कितने खुशनसीब हम है…